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Tuesday, March 9, 2010

अनगिनत सच...

मुकदमा बड़ा गंभीर है -
बताओ तो जरा फूल 
लाल थे कि सफेद ?
एक ने कहा लाल
दूसरे ने सफेद
दोनो को ही था 
अपनी आँखों पर 
पक्का यकीन
फैसला तो कब
का हो चुका
इतिहास के पन्नों
में दर्ज हो चुका
कसूरवार दोनों ही
न थे
पर इसका क्या करें
कि दोनों फरियादी
न देखना चाहते हैं
न सुनना
कि वो अब बहरे 
और अंधे हो चुके हैं
वो तो सिर्फ बोलना
चाहते है
चिल्लाना चाहते हैं
एक दूसरे को 
गलत साबित करना
चाहते हैं

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