परिक्षाएं समाप्त हुईं और गर्मी की छुट्टियां शुरु हो गई सो अब समय है वापस जाने का वहा जहा से रोजी की तालाश मे निकले थे। सात-आठ वर्षों के बाद कुछ लम्बा समय घर पर बिताने की मोहलत मिली है सो बस लौट जाना चाहता हुँ। इस पूरे महीने अब और कुछ न लिख सकुंगा। सो अगली मूलाकात अब जून मे ही हो पाएगी।